Home बिहार बिहार की इन 10 कंपनियों को हैंड सैनिटाइजर निर्माण की मिली परमिशन

बिहार की इन 10 कंपनियों को हैंड सैनिटाइजर निर्माण की मिली परमिशन

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विश्वव्यापी कोरोना वायरस महामारी के संकट व उसके जानलेवा प्रभाव को देखते हुए हैंड सैनिटाइजर की मांग देश-दुनिया में बढ़ गयी। सैनिटाइजर की मांग इतनी तेजी से बढ़ी की बाज़ार में इसकी किल्लत हो गयी। हैंड सैनिटाइजर की इसी परेशानी को दूर करने के लिए अब बिहार ने कमर कस ली है। दरअसल, बिहार में भी अब सैनिटाइजर का निर्माण शुरू हो जाएगा। स्वास्थ्य विभाग ने राज्य की 10 कंपनियों को सैनिटाइजर निर्माण के लिए अनुमति प्रदान कर दी है।

बता दें कि स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव संजय कुमार के हवाले से मिली जानकारी के मुताबिक इन कंपनियों को निर्माण को लेकर लाइसेंस जारी कर दिया गया है। श्री संजय कुमार ने कहा कि कोविड 19 के पूर्व बिहार में सैनिटाइजर का निर्माण नहीं होता था। उम्मीद है कि इसके बाद पर्याप्त मात्रा में सामान्य मूल्य पर बिहार में सैनिटाइजर उपलब्ध होगा।

इन जिलों में होगा हैंड सैनिटाइजर का निर्माण

विदित हो कि विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक मेसर्स ग्लोब्स स्पिरिट लिमिटेड वैशाली, मेसर्स कांसी ड्रग्स वैशाली, मेसर्स हरिनगर शुगर मिल्स, मेसर्स बेस्टलीन ड्रग्स पटना, मेसर्स सम्राट लेबोरेटरी समस्तीपुर, मेसर्स क्रॉस फार्म पटना, मेसर्स सोन सती, मेसर्स एससीआई इंडिया बांका, मेसर्स सिमलिया भोजपुर और मेसर्स सिमलिब्स रिसर्च लेबोरेटरी भोजपुर को सैनिटाइजर निर्माण के लिए लाइसेंस जारी किया गया है।

बिहार में शिशु मृत्यु दर राष्ट्रीय औसत के बराबर हुई

ईधर, स्वास्थ्य के क्षेत्र में बिहार ने बीते शुक्रवार को बड़ी सफलता हासिल की। बिहार का शिशु मृत्यु दर घटकर राष्ट्रीय औसत के बराबर हो गया। स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने कहा कि बिहार के लिए यह बड़ी खुशखबरी है। बिहार की शिशु मृत्यु दर 35 से घटकर 32 हो गई है जो राष्ट्रीय औसत के बराबर है। यह बिहार के चिकित्सकीय सेवा के लिए बड़ी उपलब्धि है।

केंद्र सरकार ने 3 वर्षों का एसआरएस रिपोर्ट किया जारी

गौरतलब है कि विभाग के प्रधान सचिव संजय कुमार ने बताया कि केंद्र सरकार ने एसआरएस रिपोर्ट 2016, 2017 और 2018 जारी कर दिया है। इसके अनुसार 2016 में बिहार में शिशु मृत्यु दर 38 थी जबकि 2017 में यह घटकर 35 हो गयी और यह 2018 में 32, जबकि राष्ट्रीय दर क्रमशः 34, 33 और 32 हुई है। प्रधान सचिव ने यह भी बताया कि इसी प्रकार बिहार में प्रति हजार बच्चों में क्रूड मृत्यु दर 2018 में 5.8 फीसदी और क्रूड बर्थ रेट 26.2 फीसदी हो गया है।

बिहार में कोरोना संक्रमित की संख्या हुई 580, 38 में से 35 जिले प्रभावित

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